भारत और पाकिस्तान के खिलाड़ियों के बीच प्रदर्शन के लेकर अक्सर तुलना होती रहती है। कभी विराट कोहली को बाबर आजम के साथ कंपेयर किया जाता है तो कभी जसप्रीत बुमराह को शाहीन अफरीदी से। हालांकि, यह जानकर आपके होश उड़ जाएंगे कि दोनों देशों के खिलाड़ियों की सैलरी में जमीन आसमान का अंतर है। आज हम आपको बताएंगे बाबर और मोहम्मद रिजवान की आखिरकार सैलरी कितनी है।
आपको बता दें कि पिछले साल यानि सितंबर 2023 में पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने 2026 तक सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट लिस्ट का ऐलान किया था। जिसके तहत कुल 30 खिलाड़ियों को खेलने के अनुसार चार ग्रेड में बांटा गया था। ग्रेड ए में बाबर, रिजवान और शाहीन शाह अफरीदी को जगह मिली थी। जबकि , बी केटेगरी में फखर जमान, हारिस रऊफ, इमाम-उल-हक, मोहम्मद नवाज, नसीम शाह और शादाब खान जैसे खिलाड़ियों ने जगह बनाई। सी में इमाद वसीम और अब्दुल्ला शफीक को जगह मिली तो वहीं, डी केटेगरी में सरफराज अहमद और इफ्तिखार अहमद समेत 14 पाकिस्तानी खिलाड़ियों ने अपना स्थान पाया।
अब जानते हैं किसको-कितनी मिलती है सैलरी?
पीसीबी डॉक्यूमेंट के अनुसार, ग्रेड-ए में आने वाली खिलाड़ियों की सलाना सैलरी भारतीय रूपए में 1.58 करोड़ है। यानि बाबर, रिजवान और शाहीन को बोर्ड की तरफ से सैलरी के रूप में इतने ही रूपए मिलते हैं। दूसरी ओर भारत में सबसे उच्च ग्रेड ए+ प्लस में शामिल खिलाड़ियों को 7 करोड़ रूपये सलाना मिलते हैं। इस केटेगरी में रोहित शर्मा, विराट, जसप्रीत बुमराह, रवींद्र जडेजा आते हैं।
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ग्रेड-बी में आने वाले पाकिस्तानी खिलाड़ियों को 1.05 करोड़ भारतीय रूपए मिलते हैं। सी और डी में शामिल खिलाड़ियों को क्रमश: 53 और 26 लाख रूपए पाकिस्तानी बोर्ड देता है। इसके उलट भारतीय कॉन्ट्रैक्ट लिस्ट के अनुसार, ए, बी और सी में शामिल खिलाड़ियों को भारतीय रूपयों में 5 करोड़, 3 करोड़ और 1 करोड़ रूपए सलाना मिलते हैं।
कुल मिलाकर कहा जा सकता है कि भारत और पाकिस्तान के खिलाड़ियों को मिलने वाली सैलरी में तुलना करना ठीक ही नहीं है। हालांकि, पाकिस्तानी खिलाड़ी अपने देश के अलावा कई टी-20 लीग्स में खेलने और ब्रांड एंडोर्समेंट के जरिए कमाई करते हैं। दूसरी ओर भारतीय खिलाड़ी देश के अलावा आईपीएल और ब्रांड एंडोर्समेंट के जरिए मोटा पैसा बनाते हैं।