कोलकाता नाइट राइडर्स (केकेआर) ने आईपीएल 2025 के लिए अजिंक्य रहाणे को कप्तान और वेंकटेश अय्यर को उप-कप्तान बनाया है। इस फैसले पर फैंस और क्रिकेट विशेषज्ञों के बीच चर्चा हो रही है, खासकर अय्यर की बड़ी नीलामी कीमत और कप्तानी की उनकी इच्छा को देखते हुए। केकेआर के सीईओ वेंकी मैसूर ने हाल ही में बताया कि टीम ने यह फैसला क्यों लिया।
वेंकी मैसूर ने बताया कि अजिंक्य रहाणे को कप्तान क्यों बनाया गया
रहाणे को उनकी अनुभव और नेतृत्व क्षमता के कारण केकेआर का कप्तान बनाया गया है। रहाणे पहले भी भारत की टेस्ट टीम की कप्तानी कर चुके हैं, खासकर 2020/21 बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ ऐतिहासिक जीत में उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी। उन्होंने आईपीएल में राजस्थान रॉयल्स और घरेलू क्रिकेट में मुंबई की कप्तानी भी की है। हाल ही में उन्होंने ईरानी कप और सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में मुंबई को खिताब जिताने में मदद की। टी20 में उनका प्रदर्शन शानदार रहा है, जहां उन्होंने सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में 58.62 की औसत और 164.56 की स्ट्राइक रेट से 469 रन बनाए।
केकेआर के सीईओ मैसूर ने ईएसपीएनक्रिकइंफो से कहा, “कप्तानी के लिए स्थिरता, परिपक्वता और अनुभव जरूरी होता है, जो अजिंक्य के पास है। उन्होंने 185 आईपीएल मैच खेले हैं, सभी प्रारूपों में 200 से ज्यादा अंतरराष्ट्रीय मैच खेले हैं और भारत के अलावा मुंबई की भी कप्तानी की है। वह आईपीएल के पहले सीजन से खेल रहे हैं। हमें खुशी है कि हमारे पास अजिंक्य हैं, जो न सिर्फ कप्तान बल्कि बेहतरीन बल्लेबाज के रूप में भी टीम के लिए शानदार प्रदर्शन करेंगे।”
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वेंकटेश अय्यर को कप्तानी क्यों नहीं दी गई?
अय्यर, जिन्हें केकेआर ने आईपीएल 2025 मेगा नीलामी में 23.75 करोड़ रुपये में खरीदा था, ने खुद कप्तानी की इच्छा जताई थी। हालांकि, केकेआर के सीईओ मैसूर ने साफ किया कि टीम वेंकटेश को बहुत महत्वपूर्ण मानती है और उनमें नेतृत्व की क्षमता भी है, लेकिन वे चाहते हैं कि वह बिना किसी अतिरिक्त दबाव के अपने खेल पर ध्यान दें।
मैसूर ने कहा, “आईपीएल बहुत ही चुनौतीपूर्ण टूर्नामेंट है। हम वेंकटेश अय्यर को एक बेहतरीन खिलाड़ी मानते हैं, लेकिन कप्तानी किसी युवा खिलाड़ी के लिए आसान नहीं होती। कई खिलाड़ियों को कप्तानी संभालते समय कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है, इसलिए हमने उन्हें इस जिम्मेदारी से मुक्त रखा है ताकि वे अपने खेल पर पूरा ध्यान दे सकें।”