वेस्टइंडीज के धाकड़ विकेटकीपर-बल्लेबाज निकोलस पूरन ने सिर्फ 29 साल की उम्र में इंटरनेशनल क्रिकेट से संन्यास लेकर सबको चौंका दिया है। उन्हें अपनी पीढ़ी के सबसे खतरनाक सफेद गेंद (वनडे और टी20) के बल्लेबाजों में से एक माना जाता था। त्रिनिडाड के इस खिलाड़ी ने सोमवार (9 जून) रात को यह ऐलान किया, जिससे उनके फैंस और क्रिकेट के जानकार इस होनहार इंटरनेशनल करियर के अचानक खत्म होने से हैरान हैं।
निकोलस पूरन का अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से अचानक संन्यास
पूरन का यह फैसला इंग्लैंड के खिलाफ टी20 सीरीज के लिए टीम में न चुने जाने के कुछ दिनों बाद आया है, जिससे उनके आगे के करियर को लेकर बातें शुरू हो गई थीं। हालांकि, इतने बड़े और अचानक कदम की उम्मीद किसी को नहीं थी।
अपने बयान में पूरन ने कहा: “बहुत सोचने-समझने के बाद मैंने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास लेने का फैसला किया है। जिस खेल से हम प्यार करते हैं, उसने हमें बहुत कुछ दिया है और देता रहेगा। खुशी, मकसद, कभी न भूलने वाली यादें और वेस्टइंडीज के लोगों की नुमाइंदगी करने का मौका। मैरून रंग की जर्सी पहनना, राष्ट्रगान के लिए खड़े होना और हर बार मैदान पर कदम रखते ही अपना सब कुछ दे देना। यह बताना मुश्किल है कि मेरे लिए इसका क्या मतलब है। कप्तान के तौर पर टीम की अगुवाई करना मेरे लिए सम्मान की बात थी, जिसे मैं हमेशा दिल के करीब रखूंगा।”
पूरन का अंतरराष्ट्रीय करियर: आंकड़े और उपलब्धियां
पूरन का अंतरराष्ट्रीय करियर 2016 में पाकिस्तान के खिलाफ टी20 डेब्यू के साथ शुरू हुआ था। अगले नौ सालों में, उन्होंने खुद को वेस्टइंडीज की सीमित ओवरों की टीम में एक मुख्य खिलाड़ी के रूप में स्थापित किया, और अंततः वनडे और टी20 दोनों टीमों की कप्तानी की।
टी20 अंतर्राष्ट्रीय (T20I) रिकॉर्ड
- मैच: 106
- रन: 2,275
- औसत: 26.14
- स्ट्राइक रेट: 136.39
- उच्चतम स्कोर: 98
- 50s: 13
- छक्के: 149
पूरन वेस्टइंडीज के लिए सबसे ज़्यादा टी20 मैच खेलने वाले खिलाड़ी और इस प्रारूप में सबसे ज़्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी के रूप में रिटायर हुए। वे 2,000 टी20 रन बनाने वाले एकमात्र वेस्टइंडीज़ खिलाड़ी हैं और सबसे ज़्यादा टी20 छक्के लगाने वाले पूर्णकालिक राष्ट्र बल्लेबाज़ों में चौथे स्थान पर हैं, उनसे आगे सिर्फ़ रोहित शर्मा , मार्टिन गुप्टिल और जोस बटलर हैं।
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एक दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय (ODI) रिकॉर्ड
- मैच: 61
- रन: 1,983
- औसत: 39.66
- स्ट्राइक रेट: 99.15
- उच्चतम स्कोर: 118
- शतक: 3
- अर्द्धशतक: 11
वनडे में पूरन की निरंतरता साफ़ देखी जा सकती है, उनका औसत 40 के करीब है और स्ट्राइक रेट एक गेंद पर एक रन से थोड़ा कम है। 2019 विश्व कप में श्रीलंका के खिलाफ़ उनकी यादगार 118 रन की पारी उनके 50 ओवर के करियर का मुख्य आकर्षण बनी हुई है।
वेस्टइंडीज के लिए पूरन का प्रभाव
अपने सफेद गेंद के शानदार प्रदर्शन के बावजूद, पूरन ने वेस्टइंडीज के लिए कभी कोई टेस्ट मैच नहीं खेला। उन्होंने अपने करियर को छोटे फॉर्मेट (वनडे और टी20) पर ही फोकस रखा। पूरन की ताबड़तोड़ बल्लेबाजी, बड़े-बड़े छक्के लगाने की काबिलियत और अकेले दम पर मैच पलटने की क्षमता ने उन्हें फैन्स का चहेता बना दिया था। उन्होंने कीरोन पोलार्ड के संन्यास के बाद कप्तान के तौर पर एक युवा वेस्टइंडीज टीम को मुश्किल दौर से बाहर निकाला। मैदान के बाहर भी, पूरन की हिम्मत की तारीफ होती है। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत में एक एक गंभीर कार दुर्घटना से उबर कर वापसी की थी। उनका अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास उनके क्रिकेट सफर का अंत नहीं है। पूरन दुनिया भर की फ्रेंचाइजी लीग में खेलना जारी रखेंगे, जहाँ उनकी धमाकेदार बल्लेबाजी की हमेशा भारी डिमांड रहेगी।