• लॉर्ड्स में ऋषभ पंत की उंगली में चोट लगने से भारत तीसरे टेस्ट में इंग्लैंड के खिलाफ कमजोर हो गया।

  • पंत की जगह ध्रुव जुरेल को स्थानापन्न विकेटकीपर के रूप में शामिल किया गया।

ENG vs IND: अगर ऋषभ पंत लॉर्ड्स टेस्ट के बाकी दिनों के लिए उपलब्ध नहीं रहते हैं तो ध्रुव जुरेल विकेटकीपिंग के अलावा बल्लेबाजी नहीं कर सकते?
Will Rishabh Pant’s injury bench him at Lord’s Test? Here’s what the ICC says (Image source: X)

लॉर्ड्स में खेले जा रहे तीसरे टेस्ट के दौरान एक चौंकाने वाली घटना घटी जब भारत के उप-कप्तान ऋषभ पंत को विकेटकीपिंग करते समय उंगली में चोट लग गई। यह हादसा दूसरे सत्र में हुआ, जब पंत ने लेग साइड की तरफ डाइव लगाकर कैच पकड़ने की कोशिश की और उनकी बाईं हाथ की तर्जनी उंगली में चोट लग गई।

चोट गंभीर लग रही थी, क्योंकि खेल कुछ मिनटों के लिए रुक गया और उन्हें तुरंत मेडिकल सहायता दी गई। इसके बाद पंत की जगह ध्रुव जुरेल ने विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी संभाली और दिन का बाकी खेल पूरा किया। अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या पंत बल्लेबाजी कर पाएंगे या नहीं? और अगर वह नहीं उतर पाए, तो क्या ध्रुव जुरेल उनकी जगह बल्लेबाजी कर सकते हैं? पंत की फिटनेस को लेकर अभी भी स्थिति साफ नहीं है।

ध्रुव जुरेल लॉर्ड्स में ऋषभ पंत के लिए विकेटकीपिंग तो कर सकते हैं लेकिन बल्लेबाजी नहीं कर सकते?

क्रिकेट के नियमों के अनुसार, अगर किसी खिलाड़ी को मैदान पर चोट लगती है, तो उसकी जगह कोई और खिलाड़ी  फील्डिंग या विकेटकीपिंग कर सकता है। लेकिन टेस्ट क्रिकेट में बल्लेबाजी के लिए ऐसा बदलाव करना आसान नहीं है।

अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) के मौजूदा नियमों के अनुसार, कोई भी सब्स्टीट्यूट (स्थानापन्न खिलाड़ी) सिर्फ फील्डिंग या विकेटकीपिंग कर सकता है। वह न तो बल्लेबाजी कर सकता है, न गेंदबाजी और न ही कप्तानी संभाल सकता है। इसका मतलब है कि अगर ऋषभ पंत की चोट गंभीर निकली और वो बल्लेबाजी नहीं कर पाए, तो भारत को एक बल्लेबाज कम के साथ खेलना पड़ेगा। यह टीम के लिए बड़ी चिंता की बात है, खासकर जब पंत शानदार फॉर्म में हैं। इस बीच, फैंस को और भी भ्रम तब हुआ जब ICC ने हाल ही में घरेलू प्रथम श्रेणी क्रिकेट में “समान-से-समान” चोट प्रतिस्थापन का ट्रायल शुरू किया, जिसमें एक सब्स्टीट्यूट खिलाड़ी पूरी तरह से घायल खिलाड़ी की जगह मैच में भाग ले सकता है।

हालांकि, टेस्ट क्रिकेट में यह नियम अभी लागू नहीं है। फिलहाल केवल सिर की चोट (कन्कशन) के मामले में ही पूरी तरह का सब्स्टीट्यूट खेलने की अनुमति होती है, जिसे 2019 में लागू किया गया था। पंत की तरह अगर किसी खिलाड़ी को उंगली या शरीर के किसी और हिस्से में चोट लगती है, तो उसका सब्स्टीट्यूट सिर्फ फील्डिंग या विकेटकीपिंग कर सकता है, बल्लेबाजी नहीं।

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पंत की अनुपस्थिति भारत के लिए रणनीतिक झटका

अगर पंत बल्लेबाजी के लिए मैदान पर नहीं उतर पाए, तो इससे भारतीय टीम की रणनीति और संतुलन पर बड़ा असर पड़ेगा। इस सीरीज में पंत भारत के सबसे अच्छे खिलाड़ियों में से एक रहे हैं, और उनकी बल्लेबाजी की कमी टीम के लिए बहुत भारी पड़ सकती है, खासकर लॉर्ड्स जैसे मैदान पर, जहाँ मैच काफी करीबी चल रहा है।

बीसीसीआई (भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड) ने बताया है कि पंत डॉक्टरों की निगरानी में हैं, लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि पंत बल्लेबाजी कर पाएंगे या नहीं। इससे टीम और फैन्स दोनों ही उलझन में हैं। यह स्थिति आईसीसी के मौजूदा नियमों की कुछ कमियों को भी दिखाती है। सिर की चोट (कन्कशन) के लिए तो सब्स्टीट्यूट की इजाजत है, लेकिन बाकी चोटों के मामले में टीमों को किसी भी तरह की राहत नहीं मिलती। घरेलू क्रिकेट में “समान-से-समान” सब्स्टीट्यूट का ट्रायल चल रहा है, और हो सकता है कि भविष्य में यह नियम टेस्ट क्रिकेट में भी लागू हो। लेकिन फिलहाल, भारत को यही उम्मीद करनी होगी कि पंत जल्दी ठीक हों और बल्लेबाजी के लिए मैदान पर लौटें।

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श्रेणी:: ऋषभ पंत टेस्ट मैच फीचर्ड भारत

लेखक के बारे में:
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