लॉर्ड्स में खेले गए तीसरे टेस्ट में इंग्लैंड ने 22 रन से रोमांचक जीत हासिल की। इस जीत से न सिर्फ उन्हें भारत के खिलाफ सीरीज़ में 2-1 की बढ़त मिली, बल्कि मैच के बाद एक दिलचस्प कहानी भी सामने आई, जो मैदान के बाहर तक चर्चा का विषय बन गई।
इंग्लैंड के पूर्व कप्तान जोस बटलर और अनुभवी तेज़ गेंदबाज़ स्टुअर्ट ब्रॉड ने कहा कि दो भारतीय खिलाड़ियों के बर्ताव ने उनकी टीम को प्रेरित किया। उनके मुताबिक, इन भारतीय खिलाड़ियों की ज़्यादा आत्मविश्वास भरी बातें और मैदान पर उनका तेज रवैया इंग्लैंड टीम के लिए एक तरह से चुनौती बन गया। बटलर और ब्रॉड ने बताया कि इसी कारण इंग्लैंड ने इस मैच में अपना सबसे शानदार खेल दिखाया।
जोस बटलर और स्टुअर्ट ब्रॉड ने दो भारतीयों को चुना जिन्होंने अनजाने में इंग्लैंड को प्रेरित किया
चौथे दिन के अंत में भारत के खिलाड़ी वाशिंगटन सुंदर ने बीबीसी को एक इंटरव्यू में बहुत आत्मविश्वास के साथ कहा कि भारत पाँचवें दिन “शायद लंच के बाद” मैच जीत जाएगा। भारत का स्कोर 58 रन पर 4 विकेट था और उन्हें 193 रनों का लक्ष्य पूरा करना था, लेकिन सुंदर के शब्दों से उनकी टीम का आत्मविश्वास साफ दिख रहा था। उन्होंने कहा, “हम जीतेंगे, शायद पहले सत्र में। हमारी टीम अच्छी स्थिति में है और हमारे पास कुछ मजबूत बल्लेबाज़ हैं।”
लेकिन सुंदर का ये आत्मविश्वास उल्टा पड़ गया। पाँचवें दिन वह सिर्फ चार गेंदें खेल सके और फिर जोफ्रा आर्चर की गेंद पर आउट हो गए। आर्चर ने ऐसा खेला मानो सुंदर की बातों को चुनौती दी हो। बाद में बटलर ने एक पॉडकास्ट में बताया कि सुंदर की बातें इंग्लैंड की टीम तक पहुंच गईं और उनकी टीम को प्रेरणा मिली। बटलर ने बताया कि यह एक खास मौका था जब आमतौर पर शांत रहने वाले कोच ब्रेंडन मैकुलम ने टीम का उत्साह बढ़ाया।
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बटलर ने कहा कि जब सुंदर बल्लेबाजी करने आए, तो मैकुलम ने बालकनी से सबको जोश में आने को कहा। बटलर ने कहा, “शायद सुंदर ने अपनी बात थोड़ी ज़्यादा कर दी, लेकिन उनका आत्मविश्वास जबरदस्त था। ‘हाँ, हम जीतेंगे।’ यह बात इंग्लैंड की टीम तक जरूर पहुंची। आज सुबह इंग्लैंड के लिए यह इंटरव्यू सुनना ही काफी था, इससे टीम को बहुत जोश मिला।” इस तरह सुंदर के शब्दों ने इंग्लैंड को और ज़्यादा मेहनत करने का हौसला दिया और मैच में बड़ा मोड़ आया।