• जेनसोल इंजीनियरिंग लिमिटेड से जुड़े घोटाले के कारण एमएस धोनी को कथित तौर पर बड़ा वित्तीय झटका लगा है।

  • जेनसोल का शेयर ₹1,126 से गिरकर ₹41.14 पर आ गया, जिससे निवेश मूल्य में भारी गिरावट आई।

एमएस धोनी को शेयर बाजार में बड़ा नुकसान! जिस कंपनी में किया था निवेश वो वित्तीय घोटाले में फंसी
एमएस धोनी (पीसी: X)

क्रिकेट के महान खिलाड़ी एमएस धोनी को एक बड़े वित्तीय घोटाले के चलते भारी नुकसान हुआ है। यह घोटाला क्लीन-टेक कंपनी जेनसोल इंजीनियरिंग लिमिटेड से जुड़ा है, जिसमें धोनी ने बड़ा निवेश किया था।

अप्रैल 2025 से अब तक जेनसोल के शेयरों की कीमत में 96% से ज्यादा गिरावट आ चुकी है। इस गिरावट से कंपनी के सभी शेयरधारकों को बड़ा नुकसान हुआ है, जिनमें धोनी और उनके परिवार की निवेश कंपनी भी शामिल है।

जेनसोल का उतार-चढ़ाव भरा सफर: स्टार से स्कैंडल तक

जेनसोल इंजीनियरिंग, जिसे कभी भारत के इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) और रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर की उभरती हुई बड़ी कंपनी माना जाता था, ने बहुत तेज़ी से लोगों का ध्यान खींचा था। इसके सीरीज़ बी फंडिंग राउंड में धोनी के फैमिली ऑफिस और कई बड़े निवेशकों ने पैसा लगाया था। कंपनी की ईवी लीजिंग यूनिट ‘ब्लूस्मार्ट’ के ज़रिए टिकाऊ परिवहन को बढ़ावा देने की योजना को देश के हरित भविष्य की दिशा में एक अहम कदम माना गया था।

लेकिन इन ऊंची उम्मीदों के पीछे कंपनी में कई गड़बड़ियां छुपी हुई थीं। जून 2024 में जब किसी ने भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) में जेनसोल की शिकायत की, तो इसके कामकाज की गहरी जांच शुरू हुई। SEBI की जांच में यह सामने आया कि कंपनी ने जानबूझकर अपने शेयर के दाम बढ़ाए, कॉर्पोरेट पैसे का गलत इस्तेमाल किया और प्रबंधन में भी भारी लापरवाही बरती। एक बड़ा खुलासा यह हुआ कि कंपनी ने अपने लीजिंग बिज़नेस के लिए 6,400 इलेक्ट्रिक गाड़ियों की खरीद के नाम पर करीब ₹978 करोड़ का कर्ज लिया था, लेकिन असल में केवल 4,704 गाड़ियाँ ही खरीदी गईं। इसका मतलब है कि करीब ₹200 करोड़ का कोई साफ हिसाब नहीं है, जो एक बहुत गंभीर गड़बड़ी है।

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जेनसोल के वित्तीय धोखे के बाद एमएस धोनी पर क्या असर पड़ेगा?

जेनसोल इंजीनियरिंग की गहराई से हुई जांच में कंपनी के प्रमोटर अनमोल सिंह जग्गी और पुनीत सिंह जग्गी पर आरोप लगे कि उन्होंने कंपनी के फंड का एक बड़ा हिस्सा निजी लाभ के लिए गलत तरीके से हड़प लिया और अपनी गिरती क्रेडिट स्थिति छुपाने के लिए रेटिंग एजेंसियों को गलत जानकारी दी।

जब सबूतों की समीक्षा हुई, तो नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (NCLT) ने पाया कि जेनसोल के लेनदेन में धोखाधड़ी करने के स्पष्ट संकेत हैं। इसके बाद NCLT ने कंपनी, उसके प्रमोटर और संबंधित संस्थाओं के सभी बैंक व डीमैट खातों को फ्रीज़ करने का आदेश दिया। साथ ही बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ने जेनसोल के शेयरों की ट्रेडिंग तुरंत रोक दी।

इसका सीधा असर धोनी और अन्य निवेशकों पर पड़ा। धोनी के पारिवारिक कार्यालय ने सीरीज़ बी फंडिंग राउंड में लगभग ₹420 करोड़ का निवेश किया था। जेनसोल के शेयर ₹1,126 तक पहुँचने के बाद गिरकर केवल ₹41.14 पर आ गए, जिससे धोनी और दूसरे निवेशकों को भारी नुकसान हुआ। यह धोनी के लिए एक और निवेश पर बड़ा झटका है, क्योंकि इससे पहले आम्रपाली समूह में भी उनका जुड़ाव विवाद और आर्थिक तकलीफ में बदल गया था।

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श्रेणी:: एमएस धोनी फीचर्ड भारत

लेखक के बारे में:
क्रिकेट की दुनिया में जीते हैं। इस खेल के बारे में लिखना और देखना दोनों पसंद... धोनी के बहुत बड़े प्रशंसक। जुनूनी क्रिकेट राइटर जो दिलचस्प कंटेंट तैयार करने से पीछे नहीं हटते। पुलकित से संपर्क करने के लिए pulkittrigun@crickettimes.com पर मेल करें।